तालाब में पलटी डोंगी, गायब हुआ 14 साल का किशोर

- ठेकेदार के लिए मछली पकड़ने की कर रहे थे कोशिश - एक किशोर को साथ मौजूद युवक ने बचाया, लेकिन दूसरे का 8 घंटे बाद भी पता नहीं कई घंटों तक चली सर्चिंग

Nov 24, 2024 - 18:11
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तालाब में पलटी डोंगी, गायब हुआ 14 साल का किशोर
Kamed Me doobe Balak

रतलाम @newsmpg ।   जिले के गांव कमेड़ में रविवार को मछली पकड़ने गए किशोरों के साथ हादसा हो गया। 2 किशोर डोंगी नूमा नाव में बैठकर जबकि अन्य युवक ट्यूब के सहारे मछली पकड़ने के लिए तालाब में गए जहां नाव पलट गई। युवक ने एक किशोर को ट्यूब को सहारे किनारे तक खींच लिया लेकिन हादसे में दूसरा किशोर डूब गया। बाद में पुलिस और एसडीआरएफ भी सूचना पर पंहुची लेकिन शाम तक चलाए गए रेसक्यू आफरेशन के बाद भी दूसरे किशोर का पता नहीं लगा।

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जानकारी के अनुसार गांव कमेड़ में वन विभाग का तालाब है जहां एक व्यक्ति का मछली पकड़ने का ठेका है। नाबालिग किशोर अक्सर उसके लिए मछली पकड़ने तालाब में जाते हैं। रविवार सुबह करीब 10 बजे राजू निनामा उम्र 14 और इरफान खान 14 मछली पकड़ने के लिए डोंगी में बैठकर तालाब में गए थे। इस दौरान 22 वर्षीय बबलू भी इनके साथ टायर- ट्यूब के सहारे जाल बिछवाने के लिए पानी में उतरा था। जाल डालते समय ही संतुलन बिगड़ने से इनकी डोंगी पलट गई।

इसे देखकर बबलू ने इरफान को अपने साथ टायर के सहारे खींच लिया लेकिन राजू नाव के साथ पानी के नीचे चला गया। उनके अनुसार बबलू, इरफान को खींचकर किनारे तक लाया लेकिन तब तक राजू पानी में डूब चुका था और कहीं दिखाई नहीं दे रहा था। बबलू ने उसे ढ़ूढ़ने की कोशिश की और इरफान ने गांव वालों को हादसे की सूचना दी। परिवार वालों के साथ बड़ी संख्या में गांव के लोग तालाब किनारे एकत्रित हो गए। 


कई घंटों तक चली सर्चिंग

गांव वालों ने तालाब में गोते लगाकर और मछली पकड़ने वाले जाल की मदद से भी राजू को ढ़ूढने की कोशिश की, लेकिन उसका कोई पता नहीं लगा। इस बीच सूचना मिलने पर बिलपांक थाने से पुलिस बल और अधिकारी भी मौके पर पंहुचे और होम गार्ड तथा स्टेट डिजास्टर रिलीफ फोर्स की टीम को भी बुलवाया गया। टीम के जवान नाव, रस्सी, जैकेट आदि संसाधन लेकर पंहुचे और किशोर को ढ़ूढ़ने के लिए दोपहर में राहत अभियान शुरु किया गया। करीब 4 घंटे तक नाव, गोताखोंरों और जाल की मदद से किशोर को ढूढ़ने के बाद भी उसका शाम करीब 6 बजे तक कोई सुराग नहीं लगा।

घातक लापरवाही पर उठे सवाल

जानकारी के अनुसार कमेड़ में स्थित वन विभाग के इस तालाब की गहराई अधिक है। जिस व्यक्ति द्वारा मछली पकड़ने का ठेका लिया गया है वह हमेशा नाबालिग किशोरों से काम करवाता है। किशोरों और बच्चों को न तो तैरना आता था और न ही कोई सुरक्षा संसाधन थे। मछली पकड़ने के लिए इनके पास व्यवस्थित नाव तक नहीं थी। हादसे के बाद भी राहत या बचाव के लिए कोई संसाधन यहां तक कि रस्सी भी उपलब्ध नहीं थी जिससे राहत कार्य शुरु करने में भी बहुत देरी हो गई। जब तक पुलिस और एसडीआरएफ ने किशोर का पता लगाने काम शुरु किया तब तक उसके बचने के आसार नाममुमकिन हो चुके थे। 

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